ब्रेकिंग: सरकार ने जारी की फर्जी जाति सर्टिफिकेट पर नौकरी कर रहे अधिकारी-कर्मचारी की लिस्ट.. अब बर्खास्तगी की कार्रवाई.. किन विभागों में फर्जीवाड़ा कर नौकरी पाई, देखिए पूरी सूची..

रायपुर- मुख्यमंत्री के निर्देश और सामान्य प्रशासन की सख्ती के बाद फर्जी जाति के आधार पर नौकरी कर रहे अधिकारी-कर्मचारी की छुट्टी होनी शुरू हो गयी है। सामान्य प्रशासन विभाग की तरफ से उन फर्जी प्रमाण पत्र पर नौकरी कर रहे कर्मचारी अधिकारी की लिस्ट भी जारी की गई है। माना जा रहा है कि इसी सप्ताह से अधिकारियों व कर्मचारियों के खिलाफ बर्खास्तगी के आर्डर जारी होने शुरू हो जायेंगे।

जारी लिस्ट के मुताबिक प्रदेश में अभी 267 अधिकारी-कर्मचारी हैं, जो फर्जी सर्टिफिकेट के आधार पर नौकरी कर रहे हैं। जिनमें से कई लोग ऐसे  हैं, जिन्होंने हाईकोर्ट से स्टे ले रखा है। पिछले दो साल में ही 75 फर्जी सर्टिफिकेट के प्रकरण सामने आये हैं। अब सरकार उन सभी के खिलाफ कार्रवाई करने जा रही है।  GAD सिकरेट्री ने आदेश जारी कर सभी ACS, प्रिंसपल सिकरेट्री, सिकरेट्री व स्पेशल सिकरेट्री को निर्देशित किया है कि वो फर्जी जाति प्रमाण पत्र के आधार पर नौकरी कर रहे अधिकारी कर्मचारी की तुरंत बर्खास्तगी करें और जिन्होंने कोर्ट में स्टे ले रखा है, उन्हें महत्वपूर्ण जिम्मेदारी से तुरंत हटायें।

इन विभागों में हुई फर्जी नियुक्तियां 

उच्च स्तरीय प्रमाणीकरण छानबीन समिति द्वारा जिन विभागों के अधिकारियों, कर्मचारियों के जाति प्रमाण पत्र फर्जी, गलत पाए गए हैं उनमें सामान्य प्रशासन विभाग के 14, आदिमजाति तथा अनुसूचित जाति विभाग के 8, राजस्व विभाग के 7, लोक स्वास्थ्य परिवार कल्याण एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग के 9, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के 8, महिला एवं बाल विकास विभाग के 4, जल संसाधन विभाग के 14, समाज कल्याण विभाग के 1, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के 15, वाणिज्यकर विभाग के 1, गृह विभाग के 7, ग्रामोद्योग विभाग के 12, उर्जा विभाग के 7, वाणिज्य एवं उद्योग विभाग 4, कौशल विकास, तकनीकी शिक्षा एवं रोजगार विभाग के 5, उच्च शिक्षा विभाग 3, कृषि विभाग के 14, नगरीय प्रशासन विभाग और वन विभाग के 5-5, सहकारिता विभाग के 3, लोक निर्माण विभाग एवं योजना आर्थिक एवं सांख्यिकी विभाग के 2-2, पशुधन विभाग एवं मछलीपालन विभाग 6, खेल एवं युवा कल्याण विभाग 1, स्कूल शिक्षा विभाग 44, मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय, जनसम्पर्क विभाग, आवास एवं पर्यावरण विभाग में एक-एक प्रकरण शामिल हैं।

देखिए लिस्ट